पटना : बिहार में अपनी अस्तिव बचाने की लड़ाई लड़ रही कांग्रेस लालू प्रसाद के खास अखिलेश सिंह पर कांग्रेस ने भरोसा जताया है। पार्टी ने अखिलेश प्रसाद सिंह को बिहार प्रदेश कांग्रेस का अध्यक्ष की जिम्मेवारी दी है I पार्टी उनके ही नेतृत्व में बिहार में 2024 का लोक सभा चुनाव और 2025 का विधान सभा चुनाव लड़ेगी I मोतिहारी, मुजफ्फरपुर और पीरो से चुनाव हार चुके अखिलेश सिंह पर 2024 के लोक सभा चुनाव में पार्टी को एक बड़ी जीत दिलाने की जिम्मेदारी होगी I अखिलेश सिंह पर दांव लगाकर अखिलेश ने बिहार में अपने परंपरागत वोटरों को आकर्षित करने का प्रयास किया है I

मदन मोहन झा ने अप्रैल माह में पार्टी हाईकमान को अपना सौंपा था इस्तीफा

मदन मोहन झा ने इससे पहले इसी साल अप्रैल माह में पार्टी हाईकमान को अपना इस्तीफा सौंपा था। उस समय उन्होंने कहा था कि मैं पिछले कई माह से हाईकमान को बोल चुका हूं कि मेरा कार्यकाल पूरा हो चुका है। अब किसी नए को पार्टी का अध्यक्ष बनाया जाए। इसके बाद कांग्रेस के दो वरिष्ठ विधायक राजेश राम और विनय शंकर दुबे का नाम अध्यक्ष पद के तौर पर रेस में चल रहा था। पार्टी सूत्रों की मानें तो मदन मोहन झा पर बिहार बिहार में चुनाव के दौरान कांग्रेस का खराब प्रदर्शन और लगातार मिल रही हार का जिम्मेदार ठहराया जा रहा था। मदन मोहन झा पिछले 4 साल से बिहार प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष थे।

5 जनवरी 1962 को बिहार के अरवल में जन्मे अखिलेश प्रसाद सिंह 2000 से 2004 तक अरवल से बिहार विधानसभा के सदस्य हुआ करते थे I तब बिहार में लालू प्रसाद की सरकार थी I अखिलेश प्रसाद सिंह लालू प्रसाद की सरकार में स्वास्थ्य मंत्री का पद भी संभाल चुके हैं I इसके बाद वे लोकसभा के सदस्य चुने गए और केंद्र में मनमोहन सिंह की सरकार में आरजेडी कोटे से राज्य मंत्री बने I लेकिन, लालू प्रसाद से अनबन होने के बाद अखिलेश प्रसाद सिंह आरजेडी छोड़कर कांग्रेस के साथ चले गए I कांग्रेस की टिकट पर अखिलेश प्रसाद सिंह तीन दफा चुनाव लड़े, लेकिन वो कोई चुनाव जीत नहीं सके I

जाहिर है,अब प्रदेश अध्यक्ष बनने के बाद अखिलेश प्रसाद सिंह पर 2024 लोकसभा चुनाव और 2025 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के बेहतर प्रदर्शन की बड़ी चुनौती होगी I इसके अलावा ट्रेडिशनल वोटरों को फिर से कांग्रेस की ओर आकर्षित करने की जिम्मेदारी भी होगी I बताते चलें कि बिहार के भूमिहार इन दिनों बीजेपी से नाराज चल रहे हैं I वे बिहार में विकल्प की तलाश कर रहे हैं I